चुरू,बीकानेर ओलावृष्टि के बीच मेथी, इशबगुल में तेजी ,देखे आज के ताजा भाव ,मंडी भाव राजस्थान

जानिए आज के ताजा मण्डी भावआज के ताज़ा मण्डी भावजनरल मर्चेंट एंड कमीशन एजेंट नोखा (बीकानेर)**05/06/2021**

🌿मोठ बोल्ड🌿*
*6000-6800

*🌿मूंग🌿*
6000-6300*

🌿ग्वार🌿3900/3990

🌿चना नया🌿*
5000/5000

🌿 मेथी पुरानी 🌿*
4800/5600*🌿

मेथी नई 🌿*6000/6450

मेथा 6300 से 6700*🌿

नया जीरा 🌿*
12000/12500*

🌿इसबगुल नया 10200 से 11410 (ज्यादातर माल 10500 से 11000)तक बिक रहा है ।*

🌿काला तिल🌿* 7000*

🌿कणक🌿*
1770/1950*

🌿रायडा सरसो नया 🌿*
5900/6150*

🌿मतीरा बीज🌿* 5300/5500

🌿काकड़िया बीज🌿* 6000*

तारामीरा 5000 से 5100🔈

नोखा कृषि उपज मंडी आने वाले किसानों से निवेदन है कि कृपया करके वह सुबह 6:00 बजे से लेकर 11:00 बजे तक मंडी परिसर गेट तक आ जाए उसके बाद आने वाले वाहन को मंडी परिसर में आने की इजाजत नहीं दी जाएगी ।

लोमरोड पेट्रोलियम ईयारा (बीदासर,चुरू)कैंप पर भारी ओलावृष्टि

बीकानेर शहर में भी ओलावृष्टि

05/06/2021

*महाराष्ट्र सरकार ने दलहन कारोबारियों को स्टॉक की जानकारी वेबसाइट पर देने को कहा। सरकार के आयात पॉलिसी में बदलाव के बाद दाल-दलहन में गिरावट का सिलसिला शुरू हुआ था जो अभी तक जारी। अभी दलहन बाजार में काफी अनिश्चितता है। सरकार की दलहन नीतियों में असमय और अचानक बदलाव से कारोबार प्रभावित। आयात पूरी तरह खोले जाने के बाद मिलर्स/ट्रेडर्स और आयातक के स्टॉक की जांच से कारोबार धीमा। सरकार को अपने नीतियों पर पुनर्विचार करना चाहिए अन्यथा दलहन उत्पादन में आत्मनिर्भरता मुश्किल मुश्किल होगी। निकट भविष्य में विदेश से सस्ती उड़द और अरहर की आपूर्ति बनने की उम्मीद से अरहर और उड़द के हाजिर सौदों की कीमतों में लगातार कमी देखी जा रही है।*

*हाजिर मांग कमजोर होने से इस सप्ताह दिल्ली में अरहर/उड़द/मसूर/मुंग/चना की कीमतों में लगातार गिरावट दर्ज की गई। बर्मा के स्थानीय व्यापारी के अनुसार भारत के खरीदार नीचे दाम पर बड़ी मात्रा में खरीदारी करने के लिए सक्रिय। जबकि बिकवाल दाम घटाकर बिकवाली करने में रूचि नहीं ले रहे। भारतीय आयातकों ने चेन्नई के लिए उड़द एफएक्यू 2021 फसल के लगभग 100 कंटेनरों का 700 डॉलर प्रति मीट्रिक टन एफओबी आधार पर कारोबार किया। बर्मा से कंटेनरों की कमी के कारण शुल्क अधिक है कंटेनर का भाड़ा लगभग 130 से 150 डॉलर है।*

*मीडिया में चल रही रिपोर्ट कि सरकार जल्द ही चना-काबुली चना और मसूर पर आयात शुल्क कम कर सकती है से कीमतों पर दबाव बना हुआ है। केंद्र सरकार द्वारा अरहर, उड़द और मूंग के आयात से मात्रात्मक प्रतिबंध हटा लेने के साथ ही मिलों से साप्ताहिक आधार पर स्टॉक का ब्यौरा मांगने के सरकार के फैसले से दालों की कीमतों पर पहले ही दबाव बना हुआ। कई राज्यों में लॉकडाउन प्रतिबंधों के कारण दालों का व्यापार सीमित मात्रा में ही हो रहा हालांकि हाल के दिनों में कोरोना के नए मामलों में गिरावट देखी गई है। लेकिन अभी भी रेस्तरां और होटल आदि बंद होने से दालों की कुल खपत सामान्य की तुलना में कम है। निकट भविष्य में विदेश से सस्ती उड़द और अरहर की आपूर्ति बनने की उम्मीद से भी अरहर और उड़द के हाजिर सौदों की कीमतों में कमी आई है।*

*व्यापार अपने विवेक से करें*

05/06/2021

*तेल तिलहन उत्पादन में भारत को आत्मनिर्भर नहीं बनने देना चाहते ये लोग देश में सरसों तेल की कीमतें आसमान छू रही हैं वहीं, सरसों के भाव भी लगातार अच्छे बने हुए हैं खाद्य तेलों के आयात शुल्क में कमी की अफवाह गलत निकलने से विदेशी बाजारों में गिरावट का रुख कायम हो गया दिल्ली तेल तिलहन बाजार में शुक्रवार को सोयाबीन तथा सीपीओ एवं पामोलीन तेल कीमतों में गिरावट आई. बाकी तेल तिलहनों के भाव पूर्वस्तर पर बंद हुए*

*बाजार सूत्रों का कहना है कि अफवाहों के गलत निकलने से मलेशिया एक्सचेंज में गुरुवार रात को आधा प्रतिशत और शिकागो एक्सचेंज में चार प्रतिशत की गिरावट आई थी इसका सीधा असर घरेलू कारोबार पर भी दिखा मालूम हो कि देश में खाद्यतेल की कमी को पूरा करने के लिए मुख्य रूप से सीपीओ और सोयाबीन डीगम का भारी मात्रा में आयात किया जाता है इसी कारण से विदेशों में आई गिरावट के कारण घरेलू बाजार में सोयाबीन और सीपीओ तेल कीमत में गिरावट आई*

*किसानों के हौसले होते हैं पस्त सूत्रों ने कहा कि सोयाबीन बिजाई और कटाई के मौके पर इस तरह की अफवाहों से तिलहन कारोबार और विशेष रूप से किसानों के हौसले पस्त होते हैं. सूत्रों का मानना है कि ये अफवाह उड़ाने वाले वो लोग हैं जिनके मलेशिया और अर्जेन्टीना में प्रसंस्करण संयंत्र है और ये नहीं चाहते कि देश तेल तिलहन उत्पादन के मामले में आत्मनिर्भर बने सरसों की आवक कम उन्होंने कहा कि मंडियों में सरसों की आवक कम हो रही है और किसान नीचे भाव पर फसल बेचने को राजी नहीं हैं बंगाल, बिहार और असम की ओर से राजस्थान के सरसों तेल मिलों में सरसों तेल की जोरदार मांग है मांग बढ़ने और मंडियों में कम आवक के कारण सरसों तेल तिलहन के भाव लाभ दर्शाते बंद हुए एफएसएसआई के मुताबिक आठ जून से खाद्य तेलों में सरसों तेल की मिलावट नहीं की जाएगी।*

*व्यापार अपने विवेक से करें*

05/06/2021

*चेन्नई* तुवर लेमन-6000+0
उड़द एफएक्यू जून-6350+0
एसक्यू जून-7000-50

*दिल्ली*: तुवर लेमन-6250+0
महाराष्ट्र-6600-50
उड़द एफएक्यू-6850+50
एसक्यू-7250+50

*इंदौर*: चना-5150/5200+0
काबली कंटेनर
42/44 9350+0
44/46 9200+0
58/60 8700+0
60/62 8600+0
62/64 8500+0
मसूर-6250/6300-100
मूंग-6000+0
उडद-6500/7200+0
तुवर महाराष्ट्र-6600/6700-100
कर्नाटक-6800/6900-100

*कटनी*: तुवर
मराठवाड़ा&विदर्भ-6400/6500-100
कर्नाटक मारुति-6600-100
चना देसी-5200+0
कांटा-5250/75+0
मसूर-6600-50

*मेड़ता सिटी*: मूंग-5000/6100आवक-100
चना-4600/4900आवक-300

*अहमदनगर*: तुवर-6200/6400-100आवक-500
मूंग-6000/6400-100आवक-200
उड़द-6000/6400-100आवक-300
चना देसी-4700+0
चापा-4800+0
मौसमी-4900+0आवक-700