Floating WhatsApp Button WhatsApp Icon

नए ग्वार की आज की आवक रिपोर्ट , और मंडी भाव

राम राम किसान भाइयों ने ग्वार की नई आवक के साथ ही हमने फिर से रोजाना द्वारा वर्क रिपोर्ट बनानी शुरू कर दी है जिसका श्रेय सुशील जी शर्मा एडमिन राजस्थान एग्री ग्रुप को जाता है आप राजस्थान हरियाणा की तमाम मंडियों में नए ग्वार की आवक रिपोर्ट हमारी वेबसाइट पर देख सकते हैं आज दिनांक 21 सितंबर 2022 को नए ग्वार की आवक

22 सितंबर आज के राजस्थान हरियाणा सरसों और नरमा भाव क्लिक करें और देखें

21/09/2022

सौजन्य से राजस्थान एग्री ग्रुप

नया। *1228 बोरी*

(1) श्री गंगानगर जिला– *1070* बोरी

नया—–पुराना

गंगानगर—————–250 बोरी
विजयनगर—————000 बोरी
घङसाना ———————-000 बोरी
रावला——————-000 बोरी
अनुपगढ—————–105 बोरी
केसरीसिहपूर————-400 बोरी
रायसिंहनगर————-090 बोरी
सादूलशहर ——————-000 बोरी
कर्णपूर ————————125 बोरी
गजसिहपूर ——————-020 बोरी
सुरतगढ ———————-000 बोरी
रिडमलसर ——————–020 बोरी
पदमपूर ———————–060 बोरी
जैतसर——————-000 बोरी

22 सितंबर 2022 मंडी भाव नीचे लिंक पर देखे

नोखा मंडी भाव 22 सितंबर

मेड़ता मंडी भाव

गंगानगर मंडी भाव

(1070 बोरी गुवार नया गुवार )

(2) हनुमानगढ जिला— *123* बोरी
नया—–पुराना

हनुमानगढ टाऊन———000 बोरी
HMH जंक्शन ————–050 बोरी
रावतसर—————–020 बोरी
नोहर——————–000 बोरी
पीलीबंगा ———————020 बोरी
भादरा——————-000 बोरी
संगरिया ———————–030 बोरी
गोलूवाला—————-003 बोरी
साहवा——————-000 बोरी

22 सितंबर 2022 की नए ग्वार की आवक रिपोर्ट क्लिक करके देखें

(123 बोरी गुवार नया )

(3) हरियाणा राज्य—- *30* बोरी
नया—–पुराना

आदमपूर ————————30 बोरी

(30 बोरी गुवार नया)

(4) बीकानेर जिला—- *05* बोरी
नया पुराना

डुग॔रगढ ————————-05 बोरी

(5 बोरी गुवार नया)

आदमपुर गंगानगर हनुमानगढ़ मेड़ता कोटा आदि मंडियों के भाव देखने के लिए इस पर क्लिक करें

आज नये गुवार की आमदनी 1228 बोरी रही भाव 4100 से लेकर 5051 तक बीका माल मे नमी ज्यादा और क्वालिटी बेहद शानदार है आज हरियाणा मे मौसम खराब है फसलो की क्वालिटी प्रभावित होगी हरियाणा के लगते हनुमानगढ जिले के कुछ क्षेत्र मे और चुरू के कुछ क्षेत्रों मे भी मौसम खराब है मौसम खराब के कारण हाजिर काटन और बिनोला ठीक रहेगे हाजिर की ताजा अपडेट के लिए पढते रहे राजस्थान एग्री ग्रुप

*चलते चलते चिंतन*

*”सुख” और “दुःख” दृष्टिकोण मात्र हैं*

*सब कुछ साधन संपन्न और सुखी होने पर भी एक नहीं असंख्यों व्यक्ति संसार में चिंतित, उद्विग्न दिखाई देते हैं ।* यदि और भी अधिक गहराई से देखा जाए, तो जो जितना साधन संपन्न और सुविधाओं से भरा-पूरा है, वह उतना ही चिंतित और विकल दिखाई देगा । *इसके विपरीत कम साधनों और अभाव वाले व्यक्ति मस्त-मनमौजी दिखाई देंगे ।*
जो साधन संपन्न है, सुविधाओं से भरापूरा है, उससे अधिक चिंतित रहने का कारण यह रहता है कि वह व्यक्ति अपनी संपन्नता के अभिमान में संसार के सारे सुख अपने लिए चाहता रहता है । *वह हर समय प्रसन्न रहने और हँसी-खुशी पाने के लिए लालायित रहा करता है ।* बहुत कुछ संपन्नता के बावजूद भी जब वह अप्रिय परिस्थिति के बीच पहुँचता है, तो उसका रोम-रोम दुःखी हो उठता है । *वह सोचने लगता है कि इतना सब कुछ संपन्न होने पर भी वह जो दुःखी है, वह उसके भाग्य का दोष है ।* उसका सारा ध्यान पूर्वजन्म के पापों का काल्पनिक चिंतन करने में लग जाता है, इससे उसका पूरा जीवन दुःखों की क्रीड़ास्थली बन जाता है ।
*दूसरा व्यक्ति अभावग्रस्त होने पर भी बहुत कुछ निश्चिंत एवं प्रसन्न दीखता है ।* न उसे अभाव सताता है और न संपन्नता की कामना ही क्लेश दे पाती है । वह जो कुछ पाता है खा लेता, जो कुछ पाता पहन लेता और जहाँ स्थान मिलता सो रहता है । *भोजन, वस्त्र और निवास की घोर समस्या होने पर भी उसके प्रसन्न रहने का कारण उसका “संतोष” है ।* इसके विपरीत अनेक व्यक्ति अभाव और विपन्नता का रोना रोते ही देखे जाते हैं । उन्हें भोजन, वस्त्र, निवास आदि की समस्याएँ सदा घुलाया करती हैं ।
एक सी परिस्थितियों के दो व्यक्तियों में से एक को दुःखी और एक को प्रसन्न देखकर यही समझ में आता है कि मात्र परिस्थितियाँ ही सुख-दुःख का कारण नहीं है । *यह मनुष्य का अपना दृष्टिकोण तथा मनोभूमि का स्तर है, जो उन्हें सुखी अथवा दुःखी किया करता है ।*

राजस्थान एग्री ग्रुप

सुशील शर्मा मंडी गोलूवाला